15 फरवरी के बाद शुरू होगा वैलेंटाइन की हकीकत का सिलसिला
फरवरी का माह शुरू होते ही माहौल में प्यार-मोहब्बत के जज़्बात घुलने लग जाते है. हिंदी कैलेंडर के अनुसार ये बसंत ऋतु का असर होता है तो पश्चिमी देशों में ये हवाएं वैलेंटाइन सीज़न की हो जाती है. कुल 9 दिनों का वैलेंटाइन वीक अपने आपमें में मोहब्बत की ऐसी दास्तान है, जो बहुत दिलचस्प है. जिसका हर दिन प्रेमी जोड़ों के लिए खास होता है. वैसे प्यार के इज़हार के उपरांत के दिन ज्यादा ही इंटरेस्टिंग होते हैं.
यूं तो वैलेंटाइंस डे पर प्रेमी जोड़े फूलों और टेडी बियर्स के प्यारे-प्यारे तोहफे अपने प्रेमी-प्रेमिकाओं को भी देते है लेकिन क्या आप इसके आगे-पीछे की स्टोरी जानते है. ये सिर्फ एक दिन नहीं बल्कि 9 दिनों की पूरी प्रेम कहानी है, जो हम आपको सुनाने जा रहे है. जैसे क्रिसमस या न्यू ईअर कोई एक दिन का त्यौहार नहीं होता, वैसे ही वैलेंटाइंस डे होता भले ही 14 फरवरी को है, लेकिन 9 दिन तक इसका खुमार भी देखने के लिए मिलता है.
7 से 14 फरवरी तक रहता है बस प्यार ही प्यार: आपको बता दें कपल्स का प्यार जताने का मौसम फरवरी का पहला हफ्ता समापत होने के दिन से शुरू हो जाते है. 7 फरवरी से ही प्रेमी 14 फरवरी का माहौल बनाना शुरू कर देता है. 7 फरवरी को सेलिब्रेट किया जाता है रोज़ डे, यानि प्रेमी अपनी प्रेमिका या फिर वो जिसे प्रपोज़ करने वाला है, उसे गुलाब का फूल देता है. इसके अगले ही दिन यानि 8 फरवरी को अपनी प्रेमिका या प्रेमी को प्रपोज़ करते है. इस दिन की भी बाकायदा तैयारी होती है और यहीं तय हो जाता है कि उनका वैलेंटाइंस डे अच्छा बीतने वाला है या आंसू बहाते हुए बीतेगा. फिर 9 फरवरी को जिसका प्रपोज़ल एक्सेप्ट हो गया है, वो अपने पार्टनर को चॉकलेट देकर उसे खुश कर देता है.
इसके बाद 10 फरवरी को आता है टेडी डे. इस दिन लड़के-लड़कियां अपने पार्टनर को टेडी बियर देकर अपने प्यार का इज़हार भी कर देते है. फिर 11 फरवरी को उनसे आगे की ज़िंदगी लवी डवी चलने का प्रॉमिस भी ले लेते है. सब कुछ ठीक-ठाक चल रहा हो तो 12 फरवरी को वे एक-दूसरे को झप्पी देकर सेलिब्रेट करते है हग डे. जब क़रीबियां बढ़ने लगती हैं तो प्रेमी-प्रेमिका 13 फरवरी को अपने प्यार का इज़हार किस डे पर एक-दूसरे को चूमकर करते हैं. जिसके पश्चात् आता है उनका असली दिन, यानि वैलेंटाइंस डे. 14 फरवरी को वो दुनिया के सामने अपने प्यार का ऐलान करते हैं और एक-दूसरे में खोए हुए दिखाई देते है.
15 फरवरी से शुरु होता है एक्शन: अब वैलेंटाइंस डे तो निकल गया, फिर शुरू होता है सिलसिला असलियत में लौटने का. भई 15 फरवरी आते ही थप्पड़ का सिलसिला देखने के लिए मिल जाता है. ये स्लैप डे है, जहां नाराज़गी का इज़हार जारी होने जाता है. फिर आता है किक डे, यानि जिस किसी को दूसरे को लात मारकर भगाना है, वो ये काम 16 फरवरी को कर देता है. फिर परफ्यूम डे पर वे खुशबुओं की तरह अलग उड़ने लगते हैं और 18 फरवरी को फ्लर्टिंग शुरू हो जाती है. 19 फरवरी को कनफेशन डे के दिन वो अपनी नफरत या प्यार को कनफेस कर देते हैं. 20 फरवरी के खास दिन वो अपने एक्स को याद करते हैं और फाइनली 21 फरवरी को वे ब्रेक अप करके अपने-अपने रास्ते निकल आते है.