दोस्ती पर कुर्बान ये सारा जहां
दुनिया में दोस्ती पर कई मिसालें दी जाती हैं. क्योंकि दोस्ती ही एक रिश्ता है जिसे इंसान पूरी शिद्दत के साथ निभाता है. अगर दोस्ती पक्की हो तो शरीर कितना भी बदल जाए लेकिन दोस्ती कभी नहीं बदलती. दोस्त भले काला रहे या गोरा जैसा भी रहे, लेकिन दोस्त का मन काला नहीं होना चाहिए. कहते हैं कि ढूंढने से तो खुदा भी मिल जाता है, ठीक वैसे ही अगर सच्चे दोस्त दुनिया में किसी भी रूप में आ जाये, कहीं न कहीं वो मिल ही जाते हैं. एक-दूसरे के जानी दुश्मन समझे जाने वाले बेजुबान जानवरों की दोस्ती शायद इसी बात का सबूत है.
कहा जाता है कि दुनिया में सारे रिश्ते ऊपर वाला बनाकर भेजता है सिर्फ एक दोस्ती ही ऐसा रिश्ता है जिसे हम यहाँ आने के बाद बनाते हैं. इसीलिए तो आज से नहीं कई ज़मानों पहले से दोस्ती कि मिसालें दी जा रही हैं.
दोस्ती एक ऐसा रिश्ता जिसमे आपको बिलकुल भी फॉर्मल होने की ज़रूरत नहीं होती. सच्चा दोस्त वही है जो आपको उसी तरह अपनाये जैसे आप रियल लाइफ में हैं.
बनावट की दोस्ती ज्यादा समय तक नहीं टिक पाती क्योंकि वह किसी न किसी स्वार्थ पर टिकी होती हैं. दोस्त हमारे हर सुख-दुख में शामिल हो जाता है.
कुछ बात ऐसी होती हैं जो आप अपने माता-पिता के साथ नहीं कर सकते, उन बातों को आप अपने दोस्तों के साथ शेयर कर सकते हैं. कई लोग ऐसे होते हैं जो हर उम्र के दोस्त बनाना पसंद करते हैं.