सावन के महीने में क्यों सुहागिन महिलाएं पहनती हैं हरी चूड़ियां
आप सभी जानते ही होंगे सावन का महीना चल रहा है. ऐसे में सावन के महीने में शिव जी का पूजन किया जाता है और यह महीना शिव जी का प्रिय महीना माना जाता है. ऐसे में आज हम आपको बताने जा रहे हैं कि आखिर क्यों सावन के महीने में सुहागन महिलाये हरी चूड़ियां पहनती हैं. आइए बताते हैं.
सावन में हरी चूड़ियों का महत्व
कहते हैं सावन के महीने में सबसे ज्यादा बारिश होती है. इसी के वजह से चारों ओर हरियाली दिखाई देती है. वहीं ऐसा भी कहते हैं कि हरा रंग उल्लास का प्रतीक माना जाता है और यह रंग मन को आनंदित कर देता है. केवल यही नहीं ऐसी भी मान्यता है कि सावन के महीने में भगवान शिव को चढ़ाए जाने वाले बेल और धतूरे का रंग हरा होता है. जी दरअसल प्रकृति का निर्माण करने वाले भगवान शिव को हरा रंग अतिप्रिय है.
इसी वजह से सुहागिन महिलाएं सावन के महीने में अपने शृंगार में हरी चूड़ियां जरूर शामिल करती हैं. इसी के साथ हरी चूड़ियों को सुहाग का प्रतीक कहते हैं और हरी चूड़ियां पहनकर महिलाएं भोलेनाथ की विधि विधान से पूजा कर सदा सुहागिन रहने का वरदान प्राप्त करती है. इस दौरान हरी चूड़ियां पहनकर पूजा करने से बड़े लाभ होते हैं और भोलेनाथ खुश भी हो जाते हैं. कहा जाता है सावन के महीने में हरी चूड़ियां और हरे वस्त्र पहनने से महिलाओं को शिव जी का आशीर्वाद मिलता है और उनके पति की आयु लंबी हो जाती है.
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