यहाँ जिन्दा लोगों की भी अर्थी सजाकर ले जाते हैं लोग
दुनिया में परम्पराओं की बात की जाए तो ना जाने कैसी-कैसी परम्पराएं बनाई गई है. कई ऐसी परम्परा बनी है जिन्हे सुनकर हैरानी होती हैं और कई ऐसी जिन्हे देखने के बाद हैरानी होती हैं. परम्पराएं बहुत ही अजीब और अनोखी होती हैं. आज हम एक ऐसे ही गाँव की परम्परा के बारे में बताने जा रहे हैं जिसे सुनकर आपको हैरानी होगी. दरअसल में हम बात कर रहे हैं मध्यप्रदेश के गाँवों की, जहाँ आज भी टोटके को जगह दी जाती है, जहाँ आज भी बहुत कुछ ऐसा होता है जिसे सुनकर हैरानी होती हैं. आज हम मध्यप्रदेश के एक ऐसे गाँव की बात कर रहे हैं जहाँ पर जिन्दा लोगों की अर्थियां निकाली जाती हैं.
जी हाँ, एक ऐसा गाँव जहाँ पर एक प्रथा के अनुसार जिन्दा लोगों की अर्थियां निकाली जाती है. ऐसा करने के पीछे भी एक कारण है जो यह है कि जिन गाँवों में बारिश नहीं होती वहां पर बारिश करवाने के लिए लोग जिन्दा लोगों को मृत व्यक्ति के अंतिम संस्कार के जैसे ही एक अर्थी पर सजाकर ले जाते हैं और उसके बाद सभी उस व्यक्ति की अंतिम यात्रा में शामिल भी हो जाते हैं. लोगों का ऐसा मानना है कि अगर वह ऐसा करते हैं तो उनके गाँव में बारिश जरूर होगी.
लोग बारिश को अपने गाँव में बुलाने के लिए ऐसा करते हैं. जिन्दा व्यक्ति की शवयात्रा निकालने के लिए पूरा गाँव साथ में जाता है और सभी रोते भी है जिससे की बारिश हो. कहा जाता है कि अगर किसी जिन्दा व्यक्ति कि शव यात्रा निकाली जाती है तो इंद्र भगवान खुश होते हैं और बारिश को भेज देते हैं. वैसे यह बहुत ही अजीब प्रथा है लेकिन सच्ची हैं.
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